प्रदेश सरकार के वित्त और योजना विभाग के अधिकारियों की इस बारे में अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त एवं योजना प्रबोध सक्सेना की अध्यक्षता में निरंतर बैठकें हो रही हैं। इन बैठकों में जहां पंजाब के छठे वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने के बारे में मंत्रणा हो रही है, वहीं अब अगले साल के शुरू में पेश किए जाने वाले बजट पर भी चर्चा हो रही है।

हिमाचल प्रदेश में अगले सालाना वार्षिक बजट बढ़ जाएगा। इसी के साथ अगले वित्तीय वर्ष यानी 2022-23 का बजट परिव्यय भी 60 हजार करोड़ रुपये के आसपास पहुंच सकता है। प्रदेश सरकार के योजना विभाग ने इस संबंध में सभी विभागों से वित्तीय वर्ष 2021-22 के वास्तविक बजट और 2021-22 के संभावित बजट व्यय का विवरण मांग लिया है। विभागीय मांगों में पंजाब के छठे वेतन आयोग के तहत देय लाभों को भी शामिल किया जा रहा है। इसके लिए योजना विभाग को बाकायदा एक प्रारूप भी जारी किया है, जिसे भरकर दिया जाना है। प्रदेश सरकार के वित्त और योजना विभाग के अधिकारियों की इस बारे में अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त एवं योजना प्रबोध सक्सेना की अध्यक्षता में निरंतर बैठकें हो रही हैं।

इन बैठकों में जहां पंजाब के छठे वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने के बारे में मंत्रणा हो रही है, वहीं अब अगले साल के शुरू में पेश किए जाने वाले बजट पर भी चर्चा हो रही है। इस संबंध में जो प्रारूप जारी किया गया है, उसमें राज्य योजना और केंद्रीय योजना इन दो अलग-अलग मदों में वांछित बजट को विभाजित किया गया है। चालू वित्तीय वर्ष 2021-22 के मंजूर आउटले या संभावित आउटले की जानकारी मांगी गई है। इसके अलावा आगामी वित्तीय वर्ष के सामान्य विकास योजना, अनुसूचित जाति विकास कार्यक्रम, जनजातीय क्षेत्र विकास कार्यक्रम और पिछड़ा क्षेत्र विकास कार्यक्रम जैसी अलग-अलग मदों में जानकारी चाही गई है। 21 अक्तूबर से इस संबंध में विभागों के साथ नियमित बैठकों के दौर भी शुरू हो जाएंगे। 

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